प्रदेश कांग्रेस ने केंद्र सरकार द्वारा लाएं गए किसान विरोधी काले कानून को अविलम्ब वापस करने के लिए प्रदेश कांग्रेस कार्यालय सदाकत आश्रम में सांकेतिक धरना का आयोजन किया। इस सांकेतिक धरना की अध्यक्षता प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष डॉ मदन मोहन झा ने की।
अपने अध्यक्षीय सम्बोधन में उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा लाएं गए तीन काले कानूनों को अविलम्ब वापस लिया जाएं। ये तीनों कानून किसान विरोधी हैं और ये किसानों के हितों के प्रतिकूल ही नहीं बल्कि उनकी हकमारी करने वाला है। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने आने पूंजीपति मित्रों के हितों में देश के अन्नदाता किसानों को उनके हाथों में गिरवी रखने के लिए कानून पारित कराया है। सदन में बिना बहस के जिस प्रकार इसे जबरन बिना किसी चर्चा और संशोधन के पारित कराया गया उससे यह स्पष्ट है कि ये सरकार किसानों को बिचौलिए के साथ मिलकर गिरवी रखने का कुत्सित प्रयास कर रही है।
पूर्व मंत्री और निवर्तमान विधायक अवधेश कुमार सिंह ने कहा कि पक्ष-विपक्ष के बगैर चर्चा को सुने जिस प्रकार से ये कानून हड़बड़ी में पास कराया गया, उससे केंद्र की मंशा स्पष्ट जाहिर हो रही है। किसानों को कॉरपोरेट के हाथों का खिलौना बनाने का काम वर्तमान सरकार कर रही है।
वहीं प्रदेश प्रवक्ता राजेश राठौड़ ने कहा कि केंद्र सरकार ने जैसे नोटबन्दी लाकर उसके फायदे गिनाएं लेकिन जमीनी हकीकत कुछ और रही फिर कोरोना काल में लॉकडाउन के फायदे गिनाएं लेकिन परिणाम कुछ और रहा वैसे ही अब किसान विरोधी ये तीनों कानून लाकर उसके फायदे गिना रही है जबकि इसका भी परिणाम उनके पहले के मास्टर स्ट्रोक की तरह फेल ही रहेगा।
सांकेतिक धरने में प्रदेश अध्यक्ष डॉ मदन मोहन झा, पूर्व मंत्री अवधेश कुमार सिंह, विधायक पूनम पासवान, सुबोध कुमार, प्रदेश प्रवक्ता राजेश राठौड़, आनन्द माधब, पूर्व विधान पार्षद लालबाबू लाल,जया मिश्र, नागेन्द्र कुमार विकल, स्नेहाशीष वर्धन, मो. असर, अनोखा देवी, अश्वनी सिंह मुन्ना, शशि रंजन, मनोज कुमार सिंह, श्रीमती ज्योति, सन्तोष श्रीवास्तव, केशर सिंह, उदय शंकर पटेल, रजनीश कुमार, सुधा मिश्र, कैसर अली खान, प्रयाग सिंह कुशवाहा, अरविंद लाल रजक, कमलदेव नरेन शुक्ल, धनञ्जय शर्मा, मंजीत आनन्द साहू, शशिकांत तिवारी, वसी अख्तर, सिद्धार्थ क्षत्रिय, आभा देवी सहित सैकड़ों कार्यकर्ता और नेता मौजूद रहें।