Online money transfer : अब तक लोग UPI (unified payments interface) का इस्तेमाल मोबाइल प्लेटफार्म से अपने बैंक अकाउंट किसी दूसरे बैंक अकाउंट में पैसे भेजने के लिए करते थे। यह एक ऐसा कॉन्सेप्ट है जो कई बैंक अकाउंट को एक मोबाइल एप्लीकेशन के जरिये रकम ट्रांसफर करने की इजाजत देता है जिसे नेशनल पेमेंट कॉर्पोरेशन ऑफ़ इंडिया (NPCI) ने विकसित किया है। यहाँ ध्यान देने वाली बात यह है कि अब तक एक से दूसरे व्यक्ति को वॉलेट के माध्यम से पैसे भेजने के लिए एक ही तरह का (SAME WALLET) वॉलेट इस्तेमाल किया जाता था। लेकिन अब इंटरऑपरेबिलिटी सुविधा शुरु होने के बाद आप Paytm से Phone pay में पैसा भेजना या Phone pay से Paytm में पैसे प्राप्त करने का लाभ उठा पाएंगे।
1 अप्रैल 2022 से मोबाइल वॉलेट इंटरऑपरेबिलिटी शुरू होगा
वॉलेट को और लोकप्रिय बनाने के लिए भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने ब़डा कदम उठाया है। RBI ने वॉलेट कंपनियों को 31 मार्च 2022 तक एक से दूसरे वालेट में लेनदेन की सुविधा देने का निर्देश दिया है। हाल में जारी अपने सर्कुलर में RBI ने 1 अप्रैल 2022 से मोबाइल वॉलेट इंटरऑपरेबिलिटी अनिवार्य कर दी है। इसका मतलब यह सुविधा शुरू होने के बाद अब आप एक वॉलेट से दूसरे वॉलेट में पैसा भेजने और प्राप्त करने की सुविधा का लाभ उठा पाएंगे। अभी यह सुविधा एक से दूसरे वॉलेट में उपलब्ध नहीं है। माना जा रहा है कि इससे डिजिटल भुगतान ( Online money transfer ) में और तेजी आएगी। हालांकि उपयोगकर्ता को इस सुविधा का लाभ उठाने के लिए पूर्ण KYC (know your customer) करना होगा।
वॉलेट की सीमा बढाकर दुगुनी की गई
RBI द्वारा जारी सर्कुलर के अनुसार वॉलेट की सीमा 1 लाख से बढाकर 2 लाख रुपये कर दी गई है। वहीं महीने में अधिकतम 10000( दस हजार रुपये) की निकासी कर पाएंगे। वॉलेट से पैसे की निकासी और भुगतान की सुविधा शुरु होने पर यह बैंक की तरह ही काम करेगा। अंतर यह होगा कि बैंकों में जमा पैसे पर ब्याज मिलता है लेकिन इसमें ब्याज नहीं मिल पाएगा।
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लोगों की शिकायतों का भी रखना होगा ध्यान-RBI
RBI ने अपने सर्कुलर में कहा है कि वॉलेट और प्रीपेड पेमेंट इंस्ट्रूमेंट (PPI) की सुविधा देने वाली कंपनियों को अपने ग्राहकों की शिकायत भी सुननी होगी। उनकी शिकायतों का निवारण संबंधित लोकपाल के माध्यम से किया जाएगा।