बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और भाजपा के कुशासन के पन्द्रह साल में बिहार ने अच्छे दिन तो नहीं देखें लेकिन बुरे दिन देखने को मिल गए। बिहार की राजनीति में शब्दों की बाजीगरी करके 15 साल सत्ता में काबिज रहने वाले नीतीश कुमार की सरकार शिक्षा, स्वास्थ्य और रोजगार के मोर्चे पर विफल रही।
भारतीय गणराज्य में बिहार एकलौता ऐसा राज्य है जहां के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार कोरोनाकाल में जनता को बेसहारा छोड़ के खुद क्वारन्टीन हो जाते हैं। ये बातें कांग्रेस के प्रदेश प्रवक्ता राजेश राठौड़ ने कहीं।
उन्होंने आगे कहा कि बिहार के लोग इस कथित सुशासन से त्रस्त हो चुके हैं इसलिए कांग्रेस ने आमजन की आवाज बोले बिहार बदलें सरकार को बुलन्द किया। उन्होंने कहा कि 2020 के इस विधानसभा चुनाव में भाजपा एक ओर हाफ होगी तो वहीं नीतीश बाबू और उनकी पार्टी बिहार से साफ हो जाएगी। जनता नीतीश-भाजपा की नीतियों को समझ चुकी है। इस बार अपनी वोट के चोट से निरंकुश शासन को सबक सिखाने को तैयार है।